एसआईपी निवेश के लिए सबसे अच्छे म्यूचुअल फंड चुनने के विभिन्न चरण

एसआईपी निवेश के लिए सबसे अच्छे म्यूचुअल फंड चुनने के विभिन्न चरण

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एसआईपी निवेश के लिए सबसे अच्छे म्यूचुअल फंड चुनने के विभिन्न चरण

पिछले कुछ वर्षों में म्यूचुअल फंड निवेश के सबसे लोकप्रिय माध्यमों में से एक बन गए हैं. म्यूचुअल फंडों से जुड़ी लचीलता, सुविधा और बड़े पैमाने पर विकल्पों की उपलब्धता की वजह से ऐसा हो सका है. हालांकि, कई विकल्प होने से अपने लिए सबसे अच्छी म्यूचुअल फंड स्कीम चुनने में परेशानी होती है. हालांकि, किसी भी म्यूचुअल फंड स्कीम को चुनने से पहले आपको इन पैरामीटर्स पर उनका विश्लेषण करना चाहिए:  

 

निवेश का लक्ष्य

अपने निवेश के लक्ष्य को समझना किसी म्यूचुअल फंड स्कीम को चुनने और एसआईपी में निवेश की दिशा में आगे बढ़ने के क्रम में सबसे पहला और महत्वपूर्ण कदम होता है. आप निवेश क्यों कर रहे हैं? क्या आप छोटी अवधि या फिर लंबी अवधि के लक्ष्यों को पूरा करने के लिए निवेश करना चाहते हैं? आप निवेश में कितना जोखिम उठा सकते हैं? अगर आप ज्यादा जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं तो एसआईपी के जरिए डेट म्यूचुअल फंड में निवेश आपके लिए ज्यादा मुफीद विकल्प है. हालांकि, अगर आप ज्यादा जोखिम उठा सकते हैं तो इक्विटी म्यूचुअल फंड में निवेश से आपको काफी अच्छा रिटर्न मिल सकता है. 

लागत

निवेश शुरू करने के एक साल के भीतर एग्जिट करने पर लगने वाले एक्जिट चार्ज (अगर कोई) जैसे सभी शुल्कों (चार्ज) का मूल्यांकन करिए. इसके अलावा आपको सालाना रेकरिंग चार्जेज जैसे खर्चों पर भी गौर करना चाहिए क्योंकि इससे जुड़े खर्चों से आपका कुल रिटर्न काफी कम रह जाता है. 

पोर्टफोलियो टर्नओवर

आपको आदर्श एसआईपी के लिए फंड के पोर्टफोलियो पर नजर रखने की जरूरत है यानी पोर्टफोलियो के उस हिस्से पर जिसे फंड मैनेजर हर साल खरीद-बिक्री के जरिए बदलते हैं. म्यूचुअल फंड स्कीम के स्तर पर देखा जाए तो अधिक टर्नओवर की वजह से लागत (ब्रोकरेज, टैक्स इत्यादि) अधिक रहती है, जिसका वहन आखिरकार निवेशक को ही उठाना पड़ता है और इससे रिटर्न की दर में कमी देखने के मिलती है.

परिसंपत्तियों का विविधीकरण (डाइवर्सिफिकेशन ऑफ एसेट्स)

म्यूचुअल फंड स्कीम मोटे तौर पर तीन प्रकार के होते हैं- इक्विटी, डेट और हाइब्रिड फंड (जो इक्विटी और डेट दोनों में निवेश करते हैं). अगर आप इक्विटी ओरिएंटेड म्यूचुअल फंड स्कीम में निवेश कर रहे हैं तो आप लार्ज-कैप, मिड-कैप और स्मॉल-कैप जैसे तीनों सेक्टरों में निवेश कर सकते हैं. इससे आपको विविधीकरण के लाभ मिलते हैं जैसे लार्ज-कैप फंड से आपको स्थिरता और स्मॉल एवं मिड-कैप फंड से ग्रोथ मिलती है.

फंड प्रबंधन की गुणवत्ता (फंड मैनेजमेंट की क्वालिटी)

जब आप निवेश के लिए आदर्श एसआईपी चुनते हैं तो ऐसे फंड में निवेश करना अहम होता है जो किसी मजबूत सिस्टम या प्रोसेस के आधार पर चलता हो ना कि किसी ऐसे फंड में जो पूरी तरह से ‘स्टार फंड मैनेजर’ की विशेषज्ञता पर आधारित हो. हालांकि, इसके साथ-ही-साथ फंड मैनेजर और उसके ट्रैक रिकॉर्ड की पड़ताल करना भी बुद्धिमानी भरा फैसला होता है. 

किसी भी अन्य निवेश की तरह सबसे अच्छे म्यूचुअल फंड स्कीम से संबंधित एसआईपी में भी एक तरह का जोखिम होता है. हालांकि, अगर आप ऊपर बताए गए पहलुओं के आधार पर जरूरी जांच-पड़ताल करते हैं तो जोखिम को कम किया जा सकता है और आप अधिकतम रिटर्न प्राप्त कर सकते हैं.


एडलवाइज म्यूचुअल फंड द्वारा निवेशकों को शिक्षित बनाने की एक पहल


सभी म्यूचुअल फंड निवेशकों को एक बार की केवाईसी प्रक्रिया से गुजरना होता है. निवेशकों को पंजीकृत म्यूचुअल फंड (RMF) के साथ ही डील करनी चाहिए. केवाईसीआरएमएफ और किसी शिकायत को दर्ज कराने/निवारण की प्रक्रिया के बारे में अधिक जानकारी के लिएविजिट करें - https://www.edelweissmf.com/kyc-norms


म्यूच्यूअल फंड निवेश बाजार के जोखिमों के अधीन हैं. योजना से संबंधित सभी दस्तावेजों को ध्यान से पढ़ें.

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